किराए पर दिए जा रहे फेसबुक अकाउंट, प्रति माह 35 हजार रुपये की हो रही कमाई

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किराए पर दिए जा रहे फेसबुक अकाउंट, प्रति माह 35 हजार रुपये की हो रही कमाई

फेसबुक अकाउंट अब किराए पर भी दिया जा रहा है। इससे लोग कमाई भी कर रहे हैं। खबर है कि इससे हर महीने 35 हजार रुपये तक की कमाई भी हो रही है। एक मीडिया रिपोर्ट में ये दावा किया गया है कि कई लोग अपने फेसबुक अकाउंट को किराए पर देकर कैश और फ्री लैपटॉप जैसी


किराए पर दिए जा रहे फेसबुक अकाउंट, प्रति माह 35 हजार रुपये की हो रही कमाई  फेसबुक अकाउंट अब किराए पर भी दिया जा रहा है। इससे लोग कमाई भी कर रहे हैं। खबर है कि इससे हर महीने 35 हजार रुपये तक की कमाई भी हो रही है। एक मीडिया रिपोर्ट में ये दावा किया गया है कि कई लोग अपने फेसबुक अकाउंट को किराए पर देकर कैश और फ्री लैपटॉप जैसी सुविधाएं ले रहे हैं। हालांकि, ऐसा करने से प्राइवेसी और सिक्योरिटी को खतरा हो सकता है और लोगों के अकाउंट ब्लॉक किए जा सकते हैं।
इंटरनेट मार्केटिंग करने वाली कुछ एजेंसियां इस काम में शामिल बताई जाती हैं। एक रिपोर्ट के मुताबिक, जिन एजेंसियों को फेसबुक ने विज्ञापन चलाने से बैन कर दिया था, वे आम लोगों को पैसे देकर किराए पर अकाउंट एक्सेस ले रहे हैं। रिपोर्ट में दावा किया गया है कि इस उदाहरण से ये साबित होता है कि फेसबुक के ऐड प्लेटफॉर्म सिस्टम का किस तरह से दुरुपयोग किया जा सकता है।
रेंटेड अकाउंट से तुरंत विज्ञापन चलाए जाते हैं और जब फेसबुक उन ऐड और अकाउंट को बंद करता है, तब इसी तरह के दूसरे अकाउंट से नए ऐड चलाए जाते हैं। रेंटेंड अकाउंट से व्यक्ति तुरंत एक पेज बनाता है और विज्ञापन शुरू कर देता है।
यूजर्स को अकाउंट किराए पर देने के बदले 35 हजार रुपये प्रति महीने तक दिए जाने का दावा किया गया है। ऐड लॉन्ड्रिंग करने वाली एजेंसियां ऐसे लोगों को लैपटॉप तक भेजती है। लैपटॉप में पहले से एक सॉफ्टवेयर इंस्टॉल होता है जिसके जरिए यूजर के अकाउंट के माध्यम से ऐड शुरू कर दिए जाते हैं।
रिपोर्ट के मुताबिक, फेसबुक प्रोडक्ट मैनेजर रॉब लीदर्न ने कहा है कि फेसबुक को इस मामले की जानकारी है. कंपनी पिछले करीब 2 सालों से अकाउंट रेंट पर देने के खिलाफ कार्रवाई कर रही है। ऐसे अकाउंट का पता चलने पर फेसबुक उसे बंद कर देती है।