मौलाना महमूद मदनी ने जमियत उलेमा ए हिन्द से दिया इस्तीफा
नई दिल्ली। भारत की आज़ादी में महत्वपूर्ण योगदान देने वाली क्रांतिकारी दल जमियत उलेमा ऐ हिन्द भले ही दो भागों में बंट गई हो लेकिन इसकी पहचान में कोई कमी नही आई है। जमीयत उलमा-ए-हिन्द के महासचिव मौलाना महमूद मदनी ने निजी कारणों के चलते अपने पद से इस्ती
नई दिल्ली। भारत की आज़ादी में महत्वपूर्ण योगदान देने वाली क्रांतिकारी दल जमियत उलेमा ऐ हिन्द भले ही दो भागों में बंट गई हो लेकिन इसकी पहचान में कोई कमी नही आई है।
जमीयत उलमा-ए-हिन्द के महासचिव मौलाना महमूद मदनी ने निजी कारणों के चलते अपने पद से इस्तीफा दे दिया है। हालांकि अभी उनका इस्तीफा मंजूर नहीं किया गया है। उन्होंने जमीयत उलमा-ए-हिन्द के अध्यक्ष कारी उस्मान मंसूरपुरी को अपना इस्तीफा भेजा है। वहीं मुस्लिम बुद्धिजीवियों में जमीयत उलमा-ए-हिन्द के महासचिव मौलाना महमूद मदनी के इस्तीफे को लेकर बहस छिड़ गई है।
उन्होंने अपने इस्तीफे में लिखा है कि “ससम्मान मान्यवर की सेवा में सविनय निवेदन है कि यह निष्क्रिय अपनी समस्त निष्क्रियताओं और विभिन्न निजी कारणों से महासचिव जमीयत उलमा-ए-हिंद के पद से त्यागपत्र देता है।”
जमीयत उलमा-ए-हिन्द के महासचिव मौलाना महमूद मदनी ने निजी कारणों के चलते अपने पद से इस्तीफा दे दिया है। हालांकि अभी उनका इस्तीफा मंजूर नहीं किया गया है। उन्होंने जमीयत उलमा-ए-हिन्द के अध्यक्ष कारी उस्मान मंसूरपुरी को अपना इस्तीफा भेजा है। वहीं मुस्लिम बुद्धिजीवियों में जमीयत उलमा-ए-हिन्द के महासचिव मौलाना महमूद मदनी के इस्तीफे को लेकर बहस छिड़ गई है।
उन्होंने अपने इस्तीफे में लिखा है कि “ससम्मान मान्यवर की सेवा में सविनय निवेदन है कि यह निष्क्रिय अपनी समस्त निष्क्रियताओं और विभिन्न निजी कारणों से महासचिव जमीयत उलमा-ए-हिंद के पद से त्यागपत्र देता है।”