सदियों से तालाब के बीच डूबा है नागा साधुओं का मंदिर
नई दिल्ली। किसी समय श्मशान और वीरान जंगल में बना कंकाली तालाब वर्तमान दौर में रायपुर की घनी बस्ती के बीच स्थित है। बताया जाता है कि नागा साधुओं ने मां कंकाली के स्वप्न में दिए आदेश पर 650 साल पहले कंकाली मंदिर का निर्माण करवाया था। मंदिर के ठीक सामन
नई दिल्ली। किसी समय श्मशान और वीरान जंगल में बना कंकाली तालाब वर्तमान दौर में रायपुर की घनी बस्ती के बीच स्थित है। बताया जाता है कि नागा साधुओं ने मां कंकाली के स्वप्न में दिए आदेश पर 650 साल पहले कंकाली मंदिर का निर्माण करवाया था।
मंदिर के ठीक सामने भव्य सरोवर बनाकर बीच में छोटा सा मंदिर बनवाकर शिवलिंग की स्थापना की। शुरुआती दौर में नागा साधु और शिवभक्त पूजन-दर्शन करने आते थे।
इसके बाद कुछ ऐसा चमत्कार हुआ कि धरती से पानी की धारा फूट पड़ी और सरोवर लबालब भर गया। 20 फुट ऊंचा मंदिर पूरी तरह से पानी में डूब गया। किवंदती है कि कई बार तालाब को खाली करके आम भक्तों के लिए मंदिर खोला गया, लेकिन कुछ दिनों में पुनः मंदिर तालाब में डूब गया।
आखिरकार प्रभु इच्छा के चलते मंदिर को उसी हाल में छोड़ दिया गया। सदियों से आज भी मंदिर तालाब के बीच डूबा है, जिसके चलते भक्तगण शिवलिंग के दर्शन नहीं कर पाते।
मंदिर के ठीक सामने भव्य सरोवर बनाकर बीच में छोटा सा मंदिर बनवाकर शिवलिंग की स्थापना की। शुरुआती दौर में नागा साधु और शिवभक्त पूजन-दर्शन करने आते थे।
इसके बाद कुछ ऐसा चमत्कार हुआ कि धरती से पानी की धारा फूट पड़ी और सरोवर लबालब भर गया। 20 फुट ऊंचा मंदिर पूरी तरह से पानी में डूब गया। किवंदती है कि कई बार तालाब को खाली करके आम भक्तों के लिए मंदिर खोला गया, लेकिन कुछ दिनों में पुनः मंदिर तालाब में डूब गया।
आखिरकार प्रभु इच्छा के चलते मंदिर को उसी हाल में छोड़ दिया गया। सदियों से आज भी मंदिर तालाब के बीच डूबा है, जिसके चलते भक्तगण शिवलिंग के दर्शन नहीं कर पाते।