जनवरी से Delhi-NCR में इलेक्ट्रिक और CNG का होगा रजिस्ट्रेशन, जानिए पूरा प्रोसेस

डंके की चोट पर 'सिर्फ सच'

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जनवरी से Delhi-NCR में इलेक्ट्रिक और CNG का होगा रजिस्ट्रेशन, जानिए पूरा प्रोसेस

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दिल्ली एनसीआर वायु गुणवत्ता में सुधार के लिए तैयार नीति में पूरे एनसीआर क्षेत्र से धीरे-धीरे डीजल से चलने वाले ऑटो को चलन से बाहर करने की बात कही है। इस क्रम में एक जनवरी 2023 से एनसीआर के शहरों में सिर्फ सीएनजी और इलेक्ट्रिक वाहनों का ही पंजीकरण किया जाएगा। आयोग के मुताबिक दिल्ली से बिलकुल सटे गुरुग्राम, फरीदाबाद, गौतमबुद्ध नगर और गाजियाबाद में 31 दिसंबर 2024 तक डीजल ऑटो रिक्शा को चलन से बाहर कर दिया जाएगा।

जबकि, एनसीआर के बाकी शहरों में भी इसके लिए 31 दिसंबर 2026 तक की तारीख नियत की गई है। राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र में दिल्ली, हरियाणा के 14 जिले, उत्तर प्रदेश के आठ जिले और राजस्थान के दो जिले शामिल हैं।

पीयूसी के बिना नहीं मिलेगा ईंधन

दिल्ली-एनसीआर के प्रदूषण की रोकथाम के लिए वाहन चालकों के लिए भी बाध्यकारी कदमों की घोषणा वायु गुणवत्ता प्रबंधन आयोग की नीति में की गई है। इसमें कहा गया है A

एक जनवरी 2023 से दिल्ली-एनसीआर में जिन वाहनों के पास वैध पॉल्यूशन सर्टिफिकेट (पीयूसी) नहीं होगा, उन्हें पेट्रोल पंपों से ईंधन नहीं दिया जाएगा।

दिल्ली में 1998 में हुई सीएनजी ऑटो की शुरुआत

दिल्ली में डीजल ऑटो रिक्शा से होने वाले प्रदूषण की रोकथाम के लिए वर्ष 1998 में ऑटो को सीएनजी में बदलने का अभियान चलाया गया था। लंबे चले अभियान के बाद धीरे धीरे राजधानी से डीजल ऑटो हटते गए ।

परिवहन विभाग के मुताबिक, दिल्ली में कोई भी डीजल ऑटो रिक्शा पंजीकृत नहीं है। जबकि, दिल्ली परिवहन विभाग ने पिछले साल अक्टूबर में योजना लांच की जिसके बाद से चार हजार 261 ई-ऑटो अब तक पंजीकृत हो चुके हैं।

ऐसे चलेगी प्रक्रिया

  • 1 जनवरी 2023 से एनसीआर में सिर्फ इलेक्ट्रिक-सीएनजी ऑटो का पंजीकरण
  • 31 दिसंबर 2024 के बाद गुरुग्राम, फरीदाबाद, गौतमबुद्ध नगर और गाजियाबाद में डीजल ऑटो चलन से हटेंगे
  • 31 दिसंबर 2026 के बाद बाकी एनसीआर के शहरों में भी डीजल ऑटो रिक्शा चलाने की नहीं होगी इजाजत
  • 1 जनवरी 2023 से दिल्ली-एनसीआर में बिना वैध पोल्यूशन सर्टिफिकेट के पेट्रोल पंपों से ईंधन भी नहीं मिलेगा

बिजली संयंत्रों पर भी सख्त निगरानी

दिल्ली से तीन सौ किलोमीटर के दायरे में स्थित थर्मल बिजली संयंत्रों से होने वाले प्रदूषण पर भी सख्त निगरानी रहेगी। वायु गुणवत्ता प्रबंधन आयोग की नीति के मुताबिक इन सभी थर्मल बिजली संयंत्रों को कार्बन उत्सर्जन को लेकर केन्द्रीय पर्यावरण मंत्रालय द्वारा जारी डेडलाइन का पालन करना होगा। उद्यमों में कोयले के इस्तेमाल को भी एक जनवरी 2023 से प्रतिबंधित किया गया है।

गाजियाबाद: डीजल का कोई ऑटो नहीं

एनसीआर में केवल सीएनजी और इलेक्ट्रिक ऑटो के पंजीकरण का नियम बेशक एक अगस्त से लागू होने वाला हो। लेकिन गाजियाबाद में पिछले 6 सालों से डीजल का कोई भी ऑटो पंजीकृत नहीं हुआ है। संभागीय परिवहन के आंकड़ों के मुताबिक गाजियाबाद में सीएनजी के 8576 और इलैक्ट्रिक ऑटो पंजीकृत है। डीजल का कोई ऑटो जिले में संचालित नहीं है। आरटीओ अरुण कुमार ने बताया कि डीजल के ऑटो की वैधता सीमा 10 साल निर्धारित होने के कारण लोगों का रूझान सीएनजी की तरफ हो गया।

नोएडा: छह साल से डीजल ऑटो बंद

क्षेत्र में पिछले छह सालों से डीजल ऑटो का पंजीकरण नहीं किया जा रहा है और यहां पर सीएनजी ऑटो ही सड़कों पर दौड़ रहे हैं। परिवहन विभाग के अनुसार नोएडा-ग्रेटर नोएडा में 17 हजार 849 सीएनजी ऑटो हैं, जबकि कुल आठ ही इलेक्ट्रिक ऑटो पंजीकृत हैं। जिले की सड़कों पर डीजल ऑटों का संचालन नहीं किया जा रहा है।