बड़ी खबर! Post Office FD के नियमों में बदलाव, जानिए आपके निवेश पर क्या होगा असर

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बड़ी खबर! Post Office FD के नियमों में बदलाव, जानिए आपके निवेश पर क्या होगा असर

Post Office FD


Post Office FD : बचत योजनाओं के लिए पैन, आधार अनिवार्य है। डाक विभाग की ओर से 7 मई को जारी अधिसूचना में कहा गया कि आपका पैन अब टैक्स संबंधी कामों के लिए मान्य नहीं रहेगा।

पिछले साल 1 अप्रैल से पोस्ट ऑफिस की योजनाओं में निवेश करने के लिए पैन और आधार की जानकारी देना अनिवार्य कर दिया गया था। ताजा जानकारी के मुताबिक, डाक विभाग निवेशक के पैन की प्रामाणिकता को आयकर विभाग के डेटा से मिलान करके फिर से सत्यापित करेगा।

इसका उद्देश्य यह सुनिश्चित करना है कि निवेश का पैन और आधार लिंक हो। इसके अलावा, निवेशक द्वारा डाक विभाग की योजना के लिए दिया गया नाम और जन्मतिथि का विवरण सही है या नहीं। अगर कोई गड़बड़ी पाई जाती है.

तो निवेशक इन योजनाओं में निवेश नहीं कर पाएंगे। सत्यापन प्रणाली में संशोधन पैन सत्यापन प्रणाली प्रोटीन ई-गर्व टेक्नोलॉजीज की प्रणाली से जुड़ी हुई है। इसे पहले एनएसडीएल के नाम से जाना जाता था। इससे प्राप्त फीडबैक के आधार पर पैन को मान्य किया जाता है।

अगर आपने अभी तक अपने पैन कार्ड को आधार से लिंक नहीं किया है, तो तुरंत करवा लें। आयकर विभाग ने उन लोगों पर जुर्माना लगाने की समयसीमा में ढील दी है जो 30 जून 2023 की समयसीमा तक पैन-आधार को लिंक नहीं करवा पाए हैं।

आयकर विभाग के अनुसार, 31 मई तक पैन को आधार से लिंक करवाने पर टीडीएस की कम कटौती के लिए कोई कार्रवाई नहीं की जाएगी। आयकर नियमों के अनुसार, करदाता को अपने पैन को अपने आधार नंबर से लिंक करवाना होता है।

अगर ये दोनों लिंक नहीं हैं, तो लागू दर से दोगुना टीडीएस काटना जरूरी है। इतने पैन कार्ड हो गए निष्क्रिय आंकड़ों के अनुसार, पिछले साल यानी साल 2023 में आधार कार्ड से लिंक न होने की वजह से करीब 12 करोड़ पैन कार्ड निष्क्रिय हो गए।

अगर आपका पैन कार्ड आधार से लिंक नहीं है, तो आप बैंक से जुड़ा कोई भी काम नहीं कर पाएंगे, क्योंकि बैंक के लगभग सभी कामों के लिए पैन कार्ड की जरूरत होती है।

बचत योजनाओं के लिए पैन, आधार अनिवार्य है। डाक विभाग की ओर से 7 मई को जारी अधिसूचना में कहा गया कि आपका पैन अब टैक्स संबंधी कामों के लिए मान्य नहीं रहेगा।

अगर आपका पैन निष्क्रिय हो जाता है तो लंबित टैक्स बकाया और उस पर ब्याज जारी नहीं किया जाएगा। वहीं, स्रोत पर कर की कटौती अधिक दर से की जाएगी।

अगर पैन को आधार से लिंक नहीं किया गया है तो लेनदेन करते समय उस पर लागू दर से दोगुनी दर से टीडीएस काटा जाएगा।