कोरोना वायरस संक्रमण से 278 स्वस्थ होकर डिस्चार्ज हुए, 1964 नए मिले
रायपुर। कोरोना वायरस कोविड 19 की शनिवार रात आठ बजे की स्थिति में जारी बुलेटिन के अनुसार प्रदेश के अस्पतालों से 278 मरीज कोरोना वायरस संक्रमण से स्वस्थ होकर डिस्चार्ज हुए। वहीं 1964 नये कोरोना पाजीटिव मरीज मिले। जारी बुलेटिन के अनुसार अब तक 1 लाख 87 हजार 270 मरीज कोरोना वायरस पाजीटिव मिले है जिनमें से 75 हजार 8 सौ 90 मरीज स्वस्थ होकर अपने घरों में पहुंच चुके हैं।
शनिवार रात को जारी बुलेटिन के अनुसार गत 24 घंटे में होम आइसोलेशन से 1471 मरीज स्वस्थ होकर अपने घरों को रवाना हुए वहीं अब तक 87 हजार 189 मरीज कोरोना वायरस के होम आइसोलेशन से स्वस्थ होकर अपनी सामान्य दिनचर्या के अनुरूप कार्य कर रहे हैं। वहीं 1749 मरीज होम आइसोलेशन एवं अस्पतालों से डिस्चार्ज हुए है। कुल सक्रिय मरीजों की संख्या नोडल अधिकारी द्वारा जारी बुलेटिन के अनुसार 22 हजार 90 है। शनिवार को प्रदेश में 22 हजार 761 लोगों का कोरोना टेस्ट किया गया। कोविड 19 उपचार के दौरान 6 एवं को मार्बिडिटी के सात कुल 13 मरीजों की मृत्यु हो चुकी है।
शनिवार कोरोना वायरस की जिलावार स्थिति इस प्रकार है - दुर्ग 60, राजनांदगांव 113, बालोद 78, बेमेतरा 31 कबीरधाम 88, रायपुर 138, धमतरी 62 बलौदाबाजार 64, महासमुंद 36, गरियाबंद 59, बिलासपुर 98 रायगढ़ 193, कोरबा 238 जांजगीर चांपा 225, मुंगेली 48, सरगुजा 42, कोरिया57, सूरजपुर 26, बलरामपुर 17, जशपुर 25, बस्तर 37, कोंडागांव 70, दंतेवाड़ा 26, सुकमा 26, कांकेर 52, बीजापुर 25 पेंड्रा गौरेला मरवाही 15 एवं सबसे कम मरीज कोरोना पाजीटिव के नारायणपुर के 3 मिले हैं। जबकि अन्य राज्यों से आने वाले 2 मरीजों की जानकारी जारी बुलेटिन में दी गई हैं।
नोडल अधिकारी डॉ. सुभाष पांडेय ने दीपावली पर्व के मद्देनजर एवं आने वाली शीत ऋतु को ध्यान में रखते हुए लोगों से केंद्र एवं राज्य सरकार द्वारा जारी गाइड लाइन के अनुसार आवश्यक कार्य पर घर से बाहर, बार-बार साबुन से हाथ धोना निरंतर मास्क लगाकर सार्वजनिक स्थानों पर आवाजाही करने की अपील आम नागरिकों से की है। डॉ. पांडेय के अनुसार कहीं कहीं पर शीत ऋतु के प्रकोप के चलते जिन मरीजों को कोरोना पाजीटिव मर्ज से होकर गुजरना पड़ा है उन्हें दोबारा कोरोना पाजीटिव मरीज बनने की स्थिति का खतरा है यूरोपीय देशों में कहीं कहीं पर दोबारा कोरोना की लहर चलने के कारण कोरोना पाजीटिव से ठीक होने वाले मरीज पुन: उक्त मर्ज का शिकार हुए हैं।