घर में घुसकर कपड़े उतरवाए, वीडियो बनाई’ - रेवाड़ी केस में नया मोड़, पुलिस पर भी उठे सवाल!

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घर में घुसकर कपड़े उतरवाए, वीडियो बनाई’ - रेवाड़ी केस में नया मोड़, पुलिस पर भी उठे सवाल!

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Haryana News: हरियाणा के रेवाड़ी जिले में एक ऐसी घटना सामने आई है, जिसने इंसानियत को शर्मसार कर दिया। एक परिवार के साथ न सिर्फ हथियारों के बल पर लूटपाट की गई, बल्कि घर की महिलाओं के कपड़े उतारकर उनकी अश्लील वीडियो बनाने का भी गंभीर आरोप लगा है। यह दिल दहला देने वाला मामला 3 अप्रैल की रात का है, जो रेवाड़ी के सदर थाना क्षेत्र के एक गांव में हुआ। पीड़ित परिवार का कहना है कि पुलिस इस मामले में आरोपियों को पकड़ने की बजाय उल्टे उन पर ही शक कर रही है, जिससे उनका दर्द और बढ़ गया है।

रात के अंधेरे में घटी खौफनाक घटना

पीड़ित परिवार मूल रूप से हिसार का रहने वाला है, जो लंबे समय से रेवाड़ी के चिल्ह्ड गांव में बसा हुआ है। परिवार के मुखिया ने बताया कि उस रात वे अपने मकान की छत पर बने कमरे में सो रहे थे। तभी आधी रात को करीब छह लोग हथियारों से लैस होकर उनके घर में घुस आए। इन बदमाशों के पास चाकू और बंदूकें थीं, जिनकी नोक पर परिवार को बंधक बना लिया गया। आरोप है कि बदमाशों ने नकदी और जेवरात की मांग की, और विरोध करने पर थप्पड़ मारे गए। इसके बाद उन्होंने घर की दो महिलाओं के साथ बेहद शर्मनाक हरकत की और उनके कपड़े उतारकर अश्लील वीडियो बनाई। इतना ही नहीं, पीड़ित के छोटे बच्चे को उल्टा लटकाकर धमकी भी दी गई।

लूटपाट में नहीं छोड़ा कुछ भी

बदमाशों ने घर में जमकर उत्पात मचाया। परिवार ने फर्श के नीचे कुछ जेवरात छिपाकर रखे थे, लेकिन बदमाशों ने वहां तक खुदाई करके उन्हें भी लूट लिया। उस वक्त घर में एक युवक, उसकी पत्नी, बहन और बच्चा मौजूद थे, जबकि माता-पिता कहीं बाहर गए हुए थे। पीड़ित का कहना है कि इस वारदात ने उन्हें पूरी तरह तोड़ दिया है। उनकी पत्नी और बहन के साथ हुई ज्यादती ने परिवार को गहरे सदमे में डाल दिया है।

पुलिस की जांच पर संदेह के बादल

इस मामले में पुलिस का रवैया भी सवालों के घेरे में है। पीड़ित परिवार का आरोप है कि पुलिस आरोपियों की तलाश करने की बजाय उनके बयानों पर ही शक कर रही है। वहीं, डीएसपी डॉ. रविंद्र ने बताया कि शिकायतकर्ताओं के बयान आपस में मेल नहीं खा रहे हैं, जिसके चलते मामला संदिग्ध लग रहा है। पुलिस का कहना है कि वारदात की सूचना मिलते ही पुलिस अधीक्षक मौके पर पहुंचे थे और फोरेंसिक टीम को भी बुलाया गया था। मौके से मिले सबूत भी बयानों से मेल नहीं खा रहे, जिसके चलते पुलिस हर पहलू की गहराई से जांच कर रही है।

न्याय की गुहार, सच्चाई का इंतजार

पीड़ित परिवार ने पुलिस अधीक्षक से मुलाकात कर आरोपियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की मांग की है। उनका कहना है कि वे इस दर्दनाक हादसे से उबरने की कोशिश कर रहे हैं, लेकिन पुलिस का रवैया उनके जख्मों पर नमक छिड़क रहा है। दूसरी ओर, पुलिस का दावा है कि वह पूरी निष्पक्षता से जांच कर रही है। अब सवाल यह है कि क्या यह वारदात सचमुच हुई, या इसके पीछे कोई और कहानी छिपी है? जांच पूरी होने के बाद ही असलियत सामने आ पाएगी।