पति की हत्या में, प्रेमी सहित पत्नी को आजीवन कारावास, पत्नी के प्रेम संबंधों में बाधक बन रहा था पति

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पति की हत्या में, प्रेमी सहित पत्नी को आजीवन कारावास, पत्नी के प्रेम संबंधों में बाधक बन रहा था पति

मथुरा। जिले में अवैध संबंध में बाधक बने पति की हत्या के मामले में पत्नी, उसके प्रेमी और एक अन्य को एडीजे चतुर्थ कोर्ट के न्यायाधीश अमर पाल सिंह ने आजीवन कारावास की सजा सुनाई है। ये मामला थाना हाईवे की महेंद्र नगर कालोनी का था। यहां रहने वाले पति मुक


पति की हत्या में, प्रेमी सहित पत्नी को आजीवन कारावास, पत्नी के प्रेम संबंधों में बाधक बन रहा था पतिमथुरा। जिले में अवैध संबंध में बाधक बने पति की हत्या के मामले में पत्नी, उसके प्रेमी और एक अन्य को एडीजे चतुर्थ कोर्ट के न्यायाधीश अमर पाल सिंह ने आजीवन कारावास की सजा सुनाई है।
ये मामला थाना हाईवे की महेंद्र नगर कालोनी का था। यहां रहने वाले पति मुकेश पाराशर का शव आगरा के खंदौली क्षेत्र में पड़ा मिला था। मामले में पुलिस ने पत्नी, प्रेमी, पिता तथा एक अन्य के खिलाफ चार्जशीट लगाई।
घटना 17 जुलाई 2015 की है। आगरा के खंदौली कस्बा क्षेत्र में हत्या कर एक व्यक्ति का शव फेंका गया था। जिसका अज्ञात के रूप में दाह संस्कार किया गया। बाद में पुलिस ने पहचान के लिए जगह जगह पंपलेट लगवाए। इसके आधार पर नौहझील निवासी सोनू ने शव की पहचान अपने भाई मुकेश के रूप में की थी। मुकेश पत्नी ममता के साथ हाईवे थाना क्षेत्र की महेंद्र नगर कालोनी में रहता था तथा आर्केस्टा ग्रुप में काम करता था। काफी दिन से घर से गायब था।
सोनू ने थाना हाइवे में भाभी ममता निवासी मीना नगर कोसीकलां, उसके प्रेमी पंकज निवासी हलैना भरतपुर, पिता अनिल कुमार चौहान निवासी सहारा मैनपुरी तथा एक अन्य जितेंद्र उर्फ जीतू निवासी अनाहगेट भरतपुर के खिलाफ रिपोर्ट दर्ज कराई।
तहरीर में सोनू ने बताया था कि ममता ने एक साजिश के तहत हाईवे थाने में भाई मुकेश की गुमशुदगी की तहरीर भी दी थी। जबकि इन लोगों ने मुकेश की हत्या कर उसका ठिकाने लगा दिया था। पुलिस ने सभी आरोपियों के खिलाफ चार्जशीट लगाई। केस की सुनवाई में एडीजे चतुर्थ कोर्ट के न्यायाधीश अमरपाल सिंह ने पति मुकेश की हत्या के मामले में पत्नी ममता, प्रेमी पंकज एक अन्य जितेंद्र उर्फ जीतू को आजीवन कारावास की सजा सुनाई है, जबकि पत्नी के पिता अनिल को बरी कर दिया गया है। कोर्ट ने माना कि अवैध संबंध में बाधक बनने पर ममता ने पंकज और जितेंद्र के साथ मिलकर मुकेश की हत्या कराई थी। साक्ष्य के रूप में जीतू से मुकेश का मोबाइल भी बरामद हुआ था। एडीजीसी अबू अहमद रिजवी पप्पी ने बताया कि जितेंद्र उर्फ जीतू की जमानत हो गई थी। हत्या के निर्णय के बाद उसे भी जेल भेजा गया है। आजीवन कारावास के साथ-साथ 20-20 हजार रुपये का अर्थदंड भी लगाया गया है।